नई दिल्ली, 08 मार्च 2025 (यूटीएन)। राष्ट्रीय महिला आयोग ने विवाह से पूर्व परामर्श देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है. आयोग अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर देश के नौ राज्यों में विवाह पूर्व परामर्श केंद्र “तेरे मेरे सपने” की शुरुआत कर रहा है. इस केंद्र का उद्देश्य युवाओं और युवतियों को विवाह के पहले मानसिक, शारीरिक और भावनात्मक रूप से तैयार करना है, ताकि वे विवाह के प्रति अपने दृष्टिकोण को बेहतर ढंग से समझ सकें और मजबूत संबंधों की नींव रख सकें. आयोग की अध्यक्ष ने यह भी बताया कि परामर्शदाताओं को नई दिल्ली में दो दिवसीय सम्मेलन में सिलेबस के साथ ट्रेनिंग दी गई है, ताकि वे विवाह से जुड़े विभिन्न पहलुओं पर सही और प्रभावी मार्गदर्शन दे सकें. यह केंद्र सरकार की सहायता से संचालित किए जाएंगे, और इसका मुख्य उद्देश्य विवाह से पहले दंपत्तियों को मानसिक, भावनात्मक और सामाजिक रूप से तैयार करना है.
विजया रहाटकर ने जानकारी दी कि ये केंद्र 9 राज्यों में खोले जाएंगे, जिसमें राजस्थान (बीकानेर, उदयपुर), मध्य प्रदेश (भोपाल), महाराष्ट्र (नासिक, जालना, लातूर, गोरेगांव), हरियाणा (गुरुग्राम), ओडिशा, नई दिल्ली और तिरुवनंतपुरम शामिल हैं. इन केंद्रों को आवश्यकता के अनुसार विस्तार भी दिया जाएगा. इसके प्रचार-प्रसार के लिए होर्डिंग और पम्पलेट वितरित किए जाएंगे ताकि लोग इस पहल के बारे में जागरूक हो सके. साथ ही, इन केंद्रों का उद्घाटन जिला कलेक्टर के माध्यम से किया जाएगा. एनसीडब्ल्यू की अध्यक्ष ने यह भी बताया कि आने वाले दिनों में कॉलेजों में सेमिनार आयोजित किए जाएंगे, ताकि युवाओं को विवाह से पूर्व परामर्श के महत्व के बारे में जानकारी दी जा सके. यह पहल समाज में सशक्त और समझदार परिवारों के निर्माण की दिशा में एक अहम कदम साबित हो सकती है.
“तेरे मेरे सपने” केंद्रों का उद्देश्य विवाह के प्रति सही दृष्टिकोण विकसित करना और दंपत्तियों को मानसिक, भावनात्मक और सामाजिक रूप से तैयार करना है. आयोग का मानना है कि यह पहले विवाह से जुड़ी समस्याओं को कम करने और स्वस्थ रिश्तों को बढ़ावा देने में मददगार साबित होगी. राष्ट्रीय महिला आयोग (एनसीडब्ल्यू) की अध्यक्ष विजया रहाटकर ने बताया कि इस नई पहल की शुरुआत 9 राज्यों में 21 केंद्रों के साथ हो रही है. सफल विवाह के लिए दो जोड़ों को इस रिश्ते के तमाम पहलुओं को जानना आवश्यक होता है. विवाह सिर्फ दो लोगों तक ही सीमित नहीं होता, बल्कि उसमें दो परिवार शामिल होते हैं. कई सामाजिक पहलू होते हैं, जिन्हें समझा जाना चाहिए. खुशहाल वैवाहिक जीवन हो, इसके लिए अगर शादी से पहले ही दोनों लोगों को परामर्श दिया जाए, तो इसे एक सफल योजना कहा जा सकता है.
इसके जरिए युवाओं के वैवाहिक जीवन से जुड़ी सलाह दी जाएगी. विजया रहाटकर ने बताया कि “तेरे मेरे सपने” केंद्र को स्थापित करने से पहले पिछले महीने पुणे में एक कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें देशभर से विभिन्न विषयों के परामर्शदाताओं ने हिस्सा लिया था. कार्यशाला में इस बात पर बारीकी से विचार किया गया कि इन केंद्रों में कौन-कौन से विषय शामिल किए जा सकते हैं और परामर्शदाताओं के लिए क्या-क्या विषय होने चाहिए. इसके परिणामस्वरूप एक सिलेबस तैयार किया गया है, जिसे महिला दिवस के अवसर पर इन केंद्रों में लागू किया जाएगा.