पाकिस्तान, 15 मार्च 2025 (यूटीएन)। ट्रेन हाइजैक करना इस चरमपंथी समूह की एक नई चाल है, जिससे पाकिस्तानी सरकार और उसके नागरिकों को नुकसान पहुंचाने के लिए उसकी बढ़ी हुई खुफिया जानकारी और ताकत का पता चलता है. बलूचिस्तान प्रांत पाकिस्तान का सबसे बड़ा प्रांत है, लेकिन यहां लगभग 90 लाख बलोच लोग ही रहते हैं. अल्पसंख्यक सुन्नी मुस्लिम जातीय समूह बलोच का कहना है कि केंद्र सरकार उनके साथ भेदभाव करती है.
और उनका शोषण करती है. आजादी या अलग होने की उनकी कोशिशों को पाकिस्तान ने जोर-जबरदस्ती से दबाया है. बलोच हथियारबंद गुट भी पाकिस्तानी सुरक्षा बलों के खिलाफ लंबे समय से लड़ाई लड़ रहे हैं. पिछले कुछ वर्षों में, चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे सीपीईसी के तहत इस इलाके में बढ़ते चीनी निवेश को लेकर बलोच लोगों में गुस्सा है.
BLA और अन्य अलगाववादी समूह आरोप लगाते हैं कि चीन उनके संसाधनों और जमीन का दोहन कर रहा है. उन्हें डर है कि चीनी निवेश और मजदूरों के आने से बलोच लोग और भी हाशिए पर चले जाएंगे. बीएलए चरमपंथियों ने इस क्षेत्र में सीपीईसी और चीनी मजदूरों को निशाना बनाकर भी हमले किए हैं.
एलिजाबेथ थ्रेल कोल्ड ने कहा कि बलूचिस्तान की स्थिति ‘जटिल और गहरी जड़ें जमाए हुए है’ और कई वजहों से इस इलाके में हिंसा बढ़ रही है. उन्होंने ‘चरमपंथियों की बदलती राजनीति, राजनीतिक बहिष्कार और संसाधनों के दोहन पर स्थानीय लोगों की नाराजगी के साथ ही तेज होती सैन्य अभियानों के प्रति जवाबी कार्रवाई’ की ओर इशारा किया.
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