ये शब्द ‘वारिस पंजाब दे’ संगठन के प्रमुख और खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह के हैं.
अमृतपाल सिंह ने हाल ही में खालिस्तान की मांग की और विवादों में हैं. फ़िलहाल कई क्रिमिनल केस दर्ज होने के बाद वो फ़रार हैं.
हाल के सामाजिक-राजनीतिक हलचल के बीच पंजाब से एक अहम सवाल सामने आया कि आख़िर खालिस्तान है क्या और कब पहली बार सिखों के लिए अलग देश की मांग उठी थी.
जब कभी सिखों की स्वायत्तता या खालिस्तान की मांग उठती है, तब सबका ध्यान भारतीय पंजाब की ओर खिंच जाता है.