चंडीगढ़,07 मार्च 2025 (यूटीएन)। पंजाब में युवाओं को सरकारी नौकरियां देने का आंकड़ा 51,000 पार करने पर मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बुधवार को बड़ी घोषणा की कि 50,000 और सरकारी नौकरियां दी जाएंगी जिससे युवाओं को एक लाख सरकारी नौकरियां मिल जाएंगी। मुख्यमंत्री ने अपनी सरकार का ‘मिशन रोजगार’ जारी रखते हुए 763 युवाओं को नियुक्ति पत्र सौंपे। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने तीन वर्षों में युवाओं को 51,655 सरकारी नौकरियां दी हैं। इन युवाओं के लिए आज ऐतिहासिक दिन है जो सहकारिता, स्वास्थ्य व परिवार कल्याण, उच्च शिक्षा व भाषा विभाग में चुने गए हैं। रोजगार देकर युवाओं के हाथों में टिफिन सौंपना चाहता हूं, CM मान उन्होंने कहा कि राज्य के इतिहास में पहली बार किसी भी सरकार ने सत्ता में आने के 36 महीनों में युवाओं को रिकॉर्ड 51,000 से अधिक नौकरियां दी हैं।
यह शगुन पूरा हो गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं युवाओं को रोजगार देकर उनके हाथों में टिफिन सौंपना चाहता हूं ताकि वे नशे वाली सिरिंज से दूर रह सकें। खाली मन शैतान का घर होता है इसलिए राज्य सरकार यह पूरी कोशिश कर रही है कि हमारे अधिक से अधिक युवाओं को नौकरियां मिलें ताकि वे सामाजिक बुराइयों का शिकार न हों। भर्ती में अपनाई जा रही पूरी पारदर्शिता’ सीएम ने कहा कि बेरोजगारी कई समस्याओं की जड़ है इसलिए राज्य सरकार इस को समाप्त करने पर सबसे अधिक ध्यान केंद्रित कर रही है।
उन्होंने दोहराया कि राज्य सरकार हर विभाग में खाली होते ही सभी पद भर देती है। पूरी भर्ती प्रक्रिया के लिए पारदर्शी विधि अपनाई जा रही है, जिसके कारण इन 51,000 सरकारी नौकरियों में से एक भी नियुक्ति को अब तक किसी भी अदालत में चुनौती नहीं दी गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि अमेरिका से युवाओं को रिपोर्ट करने की घटना हमारे सभी के लिए आंखें खोलने वाली है कि राज्य के युवाओं को यहां रहकर ही कड़ी मेहनत करके विभिन्न क्षेत्रों में सफलता प्राप्त करनी चाहिए। उन्होंने कर्तव्यनिष्ठा को याद दिलाते हुए युवाओं को ड्यूटी पूरी पेशेवर प्रतिबद्धता के साथ निभाने और लोगों की सेवा के लिए अपनी कलम का सूझबूझ से उपयोग करने के लिए प्रेरित किया।
‘कॉन्वेंट में पढ़े-लिखे नेता राज्य की जमीनी हकीकतों से अनजान’ मुख्यमंत्री मान ने कहा कि यह एक सच्चाई है कि कॉन्वेंट में पढ़े-लिखे राजनीतिक नेता राज्य की बुनियादी जमीनी हकीकतों से भी अनजान हैं। उन्होंने दोहराया कि पारंपरिक पार्टियां उनसे ईर्ष्या करती हैं क्योंकि वह एक साधारण परिवार से संबंधित हैं। उन्हें यह हजम नहीं हो रहा कि एक आम आदमी राज्य का शासन शानदार ढंग से कैसे चला रहा है।
इन नेताओं ने आजादी के बाद से लोगों को मूर्ख बनाकर सुविधाओं से वंचित रखा है।
केंद्रीय राज्यमंत्री रवनीत सिंह बिट्टू का मानना है कि मुख्यमंत्री का सरकारी निवास उनकी पैतृक संपत्ति है क्योंकि यहां उनके दादा एक बार मुख्यमंत्री के रूप में रहे थे। पूर्व सीएम मुझे नौकरी देते तो मैं सीएम नहीं होता’ मुख्यमंत्री भगवंत मान ने युवाओं को नियुक्ति पत्र सौंपते हुए कहा कि यदि पूर्व मुख्यमंत्रियों प्रकाश सिंह बादल व कैप्टन अमरिंदर सिंह ने नौकरी दी होती तो वह मुख्यमंत्री नहीं होते। पिछली सरकारों ने ऐसा कुछ सोचा ही नहीं जिससे युवाओं को नौकरी मिल सकती। युवा अब पंजाब में ही बेहतर भविष्य बना सकते हैं।