नई दिल्ली, 01 अक्टूबर 2025 (यूटीएन)। लालकिला मैदान में आयोजित विश्व विख्यात लव कुश रामलीला कमेटी के अध्यक्ष अर्जुन कुमार ने बताया केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने लीला स्थल पर प्रभु श्री राम की लीला का अवलोकन किया तथा प्रभु श्री रामचन्द्र जी से आशीर्वाद लिया, और सभी राम भक्तों को दशहरा पर्व की अग्रिम हार्दिक बधाई दी।
गणेश वंदना से लीला का प्रारंभ हुआ, कुंभकरण वध, लक्ष्मण-मेघनाद युद्ध, मेघनाद वध, सुलोचना का शीश मांगने हेतु रावण से आज्ञा मांगना, राम शिविर में सुलोचना का आना, पति का शीश लेकर जाना तक की लीला का मंचन हुआ।
अर्जुन कुमार के अनुसार भारी भरकम शरीर के 131 किलो वजन के बुलंद आवाज के पूर्व मेयर भाजपा नेता जत्थेदार अवतार सिंह कुंभकरण का दमदार अभिनय देख मैदान पर बैठे सभी रामभक्तों ने तालिया बजाई ।
स्टीरियो डिजिटल साउंड की आवाज में कुंभकर्ण को चिर निद्रा से उठाने के लिए 8 ट्रेक साउण्ड, जमीन हिला देने वाली आवाज से, हाथी की चिघाड़, शेर की दहाड़, सौ से ज्यादा मटके फोडे गये, तीर, भाले से भेदकर, ढोल, नगाडे के नाद से जगाया गया, खाने के लिए 120 किलो मिठाई, खाना, सैकड़ो लीटर पानी पिलाया गया। लीला स्थल लाल किला मैदान पर दशहरा पर्व के लिए रावण कुंभकरण, मेघनाद के पुतले बहुत ही आर्कषक बनाए गए है, जब रावण के पुतले पर तीर चलेगा तो नाभी से अमृत गिरेगा, आंखे मटकेंगी, आंखो से खून के आंसु निकलेंगे, हाथ में तलवारें घुमती नजर आयेंगी, रावण के गले में पहनी दस मालाएं रंग- बिरंगी अलग अलग रंगों में नजर आयेंगी, मुंह से हे राम, हे राम का उदघोष करते हुए पुतले का दहन होगा। वही लीला स्थल पर रावण, कुंभकरण, मेघनाद के पुतले लगाने की व्यवस्था शुरू हो गई।
*बारिश से हुआ काफी नुकसान*
दिल्ली-एनसीआर में मंगलवार को हुई मूसलाधार बारिश ने दशहरा पर दहन होने वाले पुतलों को काफी नुकसान हुआ है . भारी बारिश के चलते दिल्ली में होने वाली एतिहासिक रामलीला में 2 अक्टूबर को होने वाले रावण दहन के लिए तैयार किए जा रहे पुतलों में पानी भर गया और लाखों रुपये का नुकसान हो गया. बता दें कि इस बारिश से सबसे ज्यादा नुकसान लाल किला ग्राउंड पर तैयार किए जा रहे रावण, कुम्भकर्ण और मेघनाद के पुतलों को हुआ जो फाइनल सेरेमनी के लिए तैयार हो चुके थे. इस बारे में लाल किला ग्राउंड में लव कुश राम लीला के अध्यक्ष अर्जुन कुमार ने बताया कि मंगलवार सुबह हुई भारी मूसलाधार बारिश से लीला ग्राउंड के कई हिस्सों में जलभराव हो गया था. उसकी निकासी के लिए ग्राउंड में कई वॉटर पंप लगाए गए. करीब पांच घंटे की कड़ी मेहनत के बाद पूरे ग्राउंड से पानी तो निकाल दिया गया लेकिन ग्राउंड में लेटे हुए पुतले खराब हो गए.
उन्होंने बताया कि ग्राउंड में लगभग तैयार हो चुके रावण कुंभकर्ण और मेघनाथ के पुतलों को इस बारिश से काफी नुकसान हुआ है. फिलहाल मैदान में मौजूद कारीगर इन पुतलों को ठीक करने के लिए जुट गए हैं और बहुत हद तक इन्हें सही किया जा रहा है. हालांकि सबसे बड़ा डर ये भी है कि कहीं फिर से बारिश न हो जाए क्योंकि हमेशा की तरह दशहरा से एक दिन पहले ही लीला ग्राउंड में दहन से पहले रावण कुंभकर्ण और मेघनाथ के पुतलों को लगा दिया जाएगा.
लीला पश्चात् कमेटी के महासचिव सुभाष गोयल ने आये हुए सभी अतिथियों का सम्मान किया और प्रभु श्रीराम की आरती एवं चरण वंदना के साथ लीला सम्पन्न हुई।
विशेष- संवाददाता, (प्रदीप जैन)।